सत्य तो अटल है
*।।।।।।।।।मुक्तक।।।।।।*
तुम तो सच का सूरज हो,
यूँ हताश होते नहीं हैं।
देख कर चमक झूठ की,
यूँ कभी रोते नहीं हैं।।
लड़खड़ायोगे, गिरोगे, उठोगे,
पर जीतोगे तो तुम ही।
क्योंकि *अटल* सच है झूठ,
के पाँव होते नहीं हैं।।
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।।।।जीवन की।शाम कब आ जाये
।।।।।।।।।।मुक्तक।।।।।।।।।।।
न जाने कब जीवन की
आखरी शाम आ जाये।
वह अंतिम दिन बुलावा
जाने का पैगाम आ जाये।।
सबसे बना कर रखें हम
दिल की नेक नियत से।
जाने किसी की दुआ कब
जिंदगी के काम आ जाये।।
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*वसुधैव कुटुम्बकम जैसे*
*संसार की जरूरत है।।।*
*।।।।।।।।मुक्तक।।।।।।।*
तकरार की नहीं परस्पर
प्यार की जरूरत है।
हर बात पर मन भेद नहीं
इकरार की जरूरत है।।
मिट जाती हस्ती किसीऔर
को मिटाने वाले की।
वसुधैव कुटुम्बकम जैसे
संसार की जरूरत है।।
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*बस अमन चैन की ही बात हो।*
*।।।।।।।।।।मुक्तक।।।।।।।।।।।*
कभी दुर्भावना नहीं बस
प्रेम की बात हो।
बसे विश्वास दिलों में ना
घात प्रतिघात हो।।
हवा भी बहे बस लेकर
अमन चैन का संदेश।
ना मेरी ही कोई जीत हो
ना तेरी ही मात हो।।
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*इसी जन्म में करनी का*
*हिसाब होता है।।।।।।।।*
*।।।।।।।मुक्तक।।।।।।।।।*
जैसा करोगे तुम सवाल
वैसा जवाब होता है।
अच्छे बुरे कर्मों का वैसा
नामो खिताब होता है।।
भाग्य कर्म फल का चक्र
पूर्ण होता है यहीं पर।
इसी जन्म में करनी का
पूरा हिसाब होता है।।
एस के कपूर
*श्री हंस,बरेली
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